2006 में पद्मश्री पुरस्कार और संगीत नाटक अकादमी सम्मान प्राप्त करने वाले उस्ताद राशिद खान का मंगलवार को 55वें वर्ष में निधन हो गया।
प्रारंभिक जीवन और संगीतमय यात्रा
पद्मश्री पुरस्कार से सम्मानित और संगीत नाटक अकादमी से सम्मानित उस्ताद राशिद खान ने हिंदुस्तानी शास्त्रीय संगीत के इतिहास में अंकित विरासत को पीछे छोड़ते हुए इस दुनिया को अलविदा कह दिया। 1 जुलाई, 1968 को जन्मे, खान प्रतिष्ठित रामपुरा-सहसवान घराने से थे, उनकी वंशावली इस घराने के संस्थापक, प्रख्यात इनायत हुसैन खान से मिलती है।
विरासत और प्रभाव
भारतीय गायन संगीत के पथप्रदर्शक के रूप में पहचाने जाने वाले खान की मधुर आवाज ने वैश्विक पहचान हासिल की। बॉलीवुड फिल्म ‘जब वी मेट’ में ‘Aaoge Jab Tum’ के उनके गायन ने उनकी बहुमुखी प्रतिभा को प्रदर्शित किया और शास्त्रीय संगीत प्रेमियों से परे उनके प्रशंसकों का दायरा बढ़ाया।
Deeply saddened by the tragic demise of Ustad Rashid Khan, one of the greatest exponents of Indian classical music of our times.
— Mamata Banerjee (@MamataOfficial) January 9, 2024
A hugely respected vocalist with unparalleled genius in creating music, he made us proud by settling here and making Bengal his home. He and Soma,…
संगीत में योगदान
बॉलीवुड में प्रवेश के अलावा, राशिद खान की संगीत यात्रा विविध क्षेत्रों तक फैली हुई है। उन्होंने ‘My Name Is Khan’ और ‘Mausam’ जैसी विभिन्न फिल्मों में भावपूर्ण प्रस्तुतियों से उद्योग जगत को गौरवान्वित किया। शास्त्रीय संगीत के प्रति खान का समर्पण अटूट रहा, जो उनके दैनिक अभ्यास सत्रों में स्पष्ट था, यहाँ तक कि उनके अस्पताल में भर्ती होने के दौरान भी।
एक युग का अंत
दुखद बात यह है कि कैंसर से उनकी लड़ाई के कारण 55 वर्ष की आयु में उनका निधन हो गया। संगीत के प्रति उनकी प्रतिबद्धता उनके अंतिम दिनों तक बनी रही, जो कला के प्रति उनके जुनून और समर्पण का उदाहरण है।
RIP Ustad #RashidKhan 🙏
— Bollywoodirect (@Bollywoodirect) January 9, 2024
Ustad Rashid Khan, the acclaimed music maestro and Classical vocalist, passed away at 55. His death leaves a big gap in the world of classical music.
Video Courtesy: KUMAR SHIVAM pic.twitter.com/XAuZEKY0bq
प्रश्नोत्तर अनुभाग
प्रश्न: उस्ताद राशिद खान का बॉलीवुड में क्या योगदान था?
उत्तर: ‘जब वी मेट’ में खान के ‘आओगे जब तुम’ गाने ने उन्हें बॉलीवुड इंडस्ट्री में व्यापक पहचान दिलाई।
प्रश्न: उस्ताद राशिद खान किस घराने से थे?
उत्तर: वह प्रतिष्ठित रामपुरा-सहसवान घराने से थे, उनकी वंशावली इनायत हुसैन खान से मिलती है।
प्रश्न: उस्ताद राशिद खान ने शास्त्रीय संगीत की दुनिया को कैसे प्रभावित किया?
उत्तर: हिंदुस्तानी शास्त्रीय संगीत के प्रति उनका समर्पण, जो उनके कठोर अभ्यास और बहुमुखी प्रस्तुतियों के माध्यम से प्रदर्शित हुआ, ने इस शैली में एक दिग्गज के रूप में उनकी स्थिति को मजबूत किया।